तीन चौथाई
आम आदमी का खास ब्लॉग
मंगलवार, 22 नवंबर 2011
तीन चौथाई: अपनों की दुनिया
तीन चौथाई: अपनों की दुनिया
: पत्थर हो गया
साहिल था अब आंसुओं का समंदर हो गया ,
ए. दुष्यंत युवा कवि व पत्रकार।
इस पत्थर के शहर में मैं भी पत्थर ह...
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